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मध्य प्रदेश के रतलाम जिले में दबंग किसान लालसिंह खतीजा की बम ब्लास्ट में मौत हो गई। लाल सिंह के चिथड़े उसी के खेत में यहां वहां पड़े हुए मिले। धमाका इतना जोरदार था कि 1 किलोमीटर दूर तक दहशत पसर गई। पुलिस इन्वेस्टिगेशन के बाद पता चला कि यह वारदात एक गरीब किसान ने की है। लाल सिंह ने पिछले साल इस किसान के सामने उसकी पत्नी का गैंगरेप किया था।
दबंग अपराधियों से बदले से ज्यादा पुलिस और प्रशासन के फेलियर की कहानी है। जब कानून का डर खत्म हो जाता है और कोई भ्रष्ट पुलिस अधिकारी किसी दबंग की जेब में नजर आता है तब इस तरह की वारदातें होती हैं। कहानी 1 साल पहले शुरू हुई। भंवरलाल पाटीदार उम्र 54 साल, लालसिंह खतीजा उम्र 35 साल और दिनेश उम्र 37 साल ने मिलकर सुरेश लोढ़ा के सामने उसकी पत्नी का गैंगरेप किया था। यह बिल्कुल वैसा ही था जैसा कि फिल्मों में दिखाई देता है। सुरेश गिड़गिड़ा रहा था और तीनों दरिंदे उसके सामने उसकी पत्नी को नोंच रहे थे। सुरेश को धमकी दी गई कि यदि वह पुलिस के पास गया था उसे और उसकी पत्नी को जान से मार देंगे।
दबंगों के पुलिस से मेल मिलाप और धमकी के कारण सुरेश ने FIR दर्ज नहीं कराई लेकिन कानून हाथ में लेकर अपने तरीके से सजा देने का फैसला लिया। करीब 6 महीने तक शांत रहकर उसने सब कुछ सामान्य होने का इंतजार किया फिर भंवर लाल पाटीदार को मारने के लिए एक बम प्लांट किया परंतु किस्मत से भवरलाल पाटीदार बच गया। सुरेश फिर 6 महीने तक शांत रहा और इस बार उसने कोई गलती नहीं की। लाल सिंह के खेत में ट्यूबेल के स्टार्टर से बम को कनेक्ट कर दिया। लाल सिंह ने जैसे ही स्विच ऑन किया, उस की डेड बॉडी के टुकड़े टुकड़े पूरे खेत में बिखर गए। खुलासे के बाद जिंदा बचे दोनों आरोपियों ने पुलिस के सामने सरेंडर कर दिया।