सरकारी अस्पतालों में वसूली का फरमान शर्मनाक, तत्काल वापस हो आदेश: नारायण त्रिपाठी…..
अमित मिश्रा/सतना।

मैहर। पूर्व विधायक नारायण त्रिपाठी ने मैहर के सरकारी अस्पताल में सोनोग्राफी और ब्लड चढ़ाने पर मरीजों से शुल्क वसूलने के आदेश को लेकर तीखी नाराज़गी जताई है। उन्होंने कहा कि यह अस्पताल गरीब और असहायों का एकमात्र सहारा है, जहां नि:शुल्क इलाज मिलना चाहिए, लेकिन अब डॉक्टरों की मर्जी पर सोनोग्राफी और रक्त चढ़ाने के नाम पर पैसा वसूला जाएगा, यह न केवल तुगलकी आदेश है बल्कि गरीबों के साथ सरासर अन्याय है।

नारायण त्रिपाठी ने कहा कि ऐसे फरमान जारी करने वाले अधिकारी और जिम्मेदार यह भूल गए हैं कि सरकारी अस्पताल जनता के कर के पैसे से चलते हैं, किसी निजी संस्था के नहीं। उन्होंने सवाल उठाया कि जिस प्रदेश के मुख्यमंत्री गरीबों और पीड़ितों के प्रति इतने संवेदनशील हैं, क्या वे इस अमानवीय निर्णय को स्वीकार करेंगे?
त्रिपाठी ने कहा कि इस तरह के आदेश सरकार की जनकल्याणकारी नीति के खिलाफ हैं और इससे गरीब तबके का अस्पतालों पर से भरोसा उठ जाएगा। उन्होंने मांग की है कि इस आदेश को तुरंत निरस्त किया जाए और जांच की जाए कि ऐसे निर्देश किस स्तर से जारी किए गए। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि यह फैसला वापस नहीं लिया गया, तो जनता के साथ मिलकर वे इस अन्याय के खिलाफ आंदोलन करेंगे।
नारायण त्रिपाठी ने कहा– गरीबों के इलाज पर शुल्क लगाना उनके जीवन के अधिकार पर चोट है, ऐसी सोच और ऐसे आदेश को धिक्कार।