तालाब गंदा करने वाली मछलियों को बख्शा नहीं जाएगा, रीवा रेंज के आईजी गौरव राजपूत की सख्त चेतावनी, नशे के खिलाफ ऑपरेशन ‘प्रहार 2’ शुरू…..
अमित मिश्रा/सतना।

रीवा/सतना। विंध्य क्षेत्र में नशे के खिलाफ जारी मुहिम को नई दिशा देते हुए रीवा रेंज के आईजी गौरव राजपूत ने सोमवार को ‘ऑपरेशन प्रहार-2’ की शुरुआत की। आईजी के पदभार संभालने के बाद से ही पुलिस की कार्रवाईयों में नशे के कारोबारियों के खिलाफ सख्ती देखी जा रही है। उन्होंने रीवा, सतना, सीधी और सिंगरौली जिलों में नशे की जड़ों को काटने का प्रयास किया, जिससे कई स्तर पर गिरोहों की कमर टूटी है। बावजूद इसके कुछ थाना प्रभारियों और पुलिसकर्मियों की अवैध कारोबारियों से मिलीभगत ने इस अभियान की गति को प्रभावित किया।
आईजी गौरव राजपूत ने अब रणनीति बदली है। रीवा में आयोजित बैठक के दौरान उन्होंने साफ शब्दों में कहा– मेरे पास उन पुलिसकर्मियों की सूची है जो तालाब को गंदा करने वाली मछलियों की तरह हैं। मैं नहीं चाहता कि मुझे किसी का नाम सार्वजनिक करना पड़े, लेकिन जो नहीं सुधरेंगे, उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई तय है।
उन्होंने नशीली सिरप और अवैध ड्रग्स के कारोबार में पुलिस कर्मियों की संलिप्तता पर गहरी नाराजगी जाहिर की और मंच से ही स्पष्ट चेतावनी दी, जो लोग इस तरह की गतिविधियों में लिप्त हैं, वे 15 दिन के भीतर खुद को सुधार लें, अन्यथा अपने हश्र के लिए खुद जिम्मेदार होंगे। मुझे दुख होगा कि ऐसे लोगों को समाज के सामने लज्जा का हार पहनकर जाना पड़े।
बीते कुछ महीनों का देखें तो सतना और आसपास के इलाकों में नशे के कारण अपराधों की बाढ़ सी आ गई है, कहीं चाकूबाजी तो कहीं गोलीबारी के मामले आम हो गए है, अपराधियों में नशे का असर और जनता में भय का माहौल है, जिसके कारण पुलिस प्रशासन पर भी सवाल उठने लगे हैं।
लेकिन आईजी रीवा की सख्त चेतावनी के बाद अब ‘ऑपरेशन प्रहार-2’ के तहत हर थाना स्तर पर निगरानी बढ़ाई जाएगी। पुलिस कर्मियों की कार्यशैली पर भी कड़ी नजर रखी जाएगी। आईजी राजपूत ने साफ कहा, हम समाज को नशे की जकड़न से मुक्त करने के लिए लड़ रहे हैं। जो इस लड़ाई में बाधा बनेंगे, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा।
यह स्पष्ट संकेत है कि विंध्य पुलिस अब अंदर और बाहर दोनों मोर्चों पर युद्ध के मूड में है….
 
				
